अलीगढ़ 13 फरवरीः अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के विधि संकाय के लगभग 200 छात्रों के एक समूह ने पुलिस स्टेशनों की कार्यप्रणाली से परिचित होने के लिए स्थानीय सामान्य और महिला पुलिस स्टेशनों की नैदानिक कानूनी शिक्षा की जानकारी हासिल करने के लिए वहां का दौरा किया।
उन्होंने लॉ सोसायटी के प्रभारी प्रोफेसर हशमत अली खान की देखरेख में प्रशिक्षण और प्लेसमेंट, इंटर्नशिप कार्यक्रम और कानूनी सहायता सेवाओं के तहत कानूनी और अर्ध-कानूनी प्रवर्तन और निरीक्षणालय और अदालत का दौरा किया।
विधि संकाय के डीन प्रोफेसर एमजेडएम नोमानी ने छात्रों को ले जाने वाली दो बसों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। उन्होंने कहा कि यह संकाय का एक अभिनव कदम है और इस यात्रा से छात्रों को एफआईआर, जांच डेयरी, रोजनामचा प्रविष्टि, चांद पर आधारित कैलेंडर, लॉक अप मूल्यांकन, अंतिम रिपोर्ट और पुलिस-सार्वजनिक व्यवहार का प्रत्यक्ष अनुभव प्राप्त होगा।
उन्होंने इस यात्रा में सहायता एवं सुविधा प्रदान करने के लिए जिला प्रशासन, पुलिस विभाग और सेंट्रल ऑटोमोबाइल वर्कशॉप, एएमयू को धन्यवाद दिया।
अखिल कौशल, सचिव, ट्रेनिंग एंड प्लेसमेंट सोसाइटी ने डॉ. अबसार उल हसन किदवई, अधिवक्ता-शिक्षक, जकी खैरूवाला और सलिल कुमार के साथ सभी सेमेस्टर से चयनित छात्रों का मार्गदर्शन किया।
——————————
पुरस्कार वितरण समारोह आयोजित
अलीगढ़ 13 फरवरीः एबीके हाई स्कूल (बॉयज) द्वारा आयोजित इंटर-हाउस स्पोर्ट्स वीक में ब्लू हाउस समग्र विजेता के रूप में उभरा, जबकि ग्रीन हाउस को प्रथम रनर अप और रेड हाउस को प्रतियोगिता का द्वितीय रनर अप विजेता घोषित किया गया।
इस खेल प्रतियोगिताओं में रस्साकशी, बैडमिंटन, कब्बडी, जेवलिन थ्रो, डिस्कस थ्रो, शॉर्ट पुट थ्रो, थ्री लेग्ड रेस, लेमन रेस, म्यूजिकल चेयर, फुटबॉल, हॉकी, वॉलीबॉल और खो-खो शामिल थीं।
स्कूल शिक्षा निदेशालय (डीएसई) के तत्वावधान में एबीके हाई स्कूल (बॉयज) में आयोजित पुरस्कार वितरण समारोह में विजेताओं, प्रतिभागियों को ट्रॉफी, पुरस्कार और प्रमाण पत्र प्रदान करते हुए मुख्य अतिथि वीमेंस कॉलेज की प्रिंसिपल प्रोफेसर नईमा खातून ने विजेताओं को बधाई दी और छात्रों को खेल में अपनी प्रतिभा दिखाने का अवसर प्रदान करने में आयोजक टीम द्वारा किए गए प्रयासों की सराहना की।
उन्होंने उनसे मोबाइल फोन के दुरुपयोग सहित सभी विकर्षणों से खुद को सुरक्षित रखने और पाठ्येतर गतिविधियों में शामिल होकर अपनी ऊर्जा का सदुपयोग करने का आग्रह किया।
विशिष्ट अतिथि एबीके स्कूल के पूर्व प्रिंसिपल डॉ. मो. अब्बास नियाजी ने छात्रों को सकारात्मक और रचनात्मक विकास का माहौल प्रदान करने के लिए स्कूल द्वारा शुरू की गई असंख्य गतिविधियों की सराहना की।
स्कूल की प्रिंसिपल डॉ. समीना ने विभिन्न प्रकार की खेल गतिविधियों के आयोजन और कार्यक्रम को सफल बनाने में शामिल सभी लोगों को धन्यवाद दिया।
प्रो कुदसिया तहसीन, उप निदेशक, डीएसई, संयोजक थीं, जबकि अजीजा रिजवी, पूर्व सहायक निदेशक, शारीरिक शिक्षा, वीमेन्स कॉलेज, और उमरा जहीर, अधीक्षक, अब्दुल्ला प्राइमरी स्कूल, इस अवसर पर विशेष अतिथि के रूप में मौजूद रहीं।
श्री रईस अहमद और सुश्री निदा उस्मानी खेल समन्वयक थे और सुश्री गौसिया इकबाल संयोजक थीं।
—————————–
जेएन मेडिकल कालिज रेजिडेंट डॉक्टरों को मिला पुरस्कार
अलीगढ़ 13 फरवरीः अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के जे.एन. मेडिकल कॉलेज के ऑर्थोपेडिक सर्जरी विभाग के तृतीय वर्ष के जूनियर रेजिडेंट डॉ. शिवांक खुराना को हाल ही में उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में आयोजित उत्तर प्रदेश ऑर्थोपेडिक एसोसिएशन (यूपोर्टहोकॉन-2024) के 48वें वार्षिक सम्मेलन में प्रतिष्ठित ‘डॉ. ए.के. वार्ष्णेय ई-पोस्टर गोल्ड मेडल” से सम्मानित किया गया। उन्हें अन्य कॉलेजों से आए 11 अन्य प्रतिस्पर्धियों के मुकाबले इस पुरस्कार के लिए चुना गया।
विभाग के एक अन्य रेजिडेंट डॉक्टर, डॉ. माधव चैधरी ने शैक्षणिक वर्ष 2023-2024 में जर्नल ऑफ बोन एंड ज्वाइंट डिजीज में प्रकाशित सर्वश्रेष्ठ पेपर के लिए भगवान प्रसाद पदक प्राप्त किया।
इस कांफ्रेंस में एएमयू के ऑर्थोपेडिक सर्जरी विभाग के वरिष्ठ शिक्षक प्रोफेसर आमिर बिन साबिर ने ‘हिप आर्थ्रोप्लास्टी’ पर व्याख्यान दिया और डॉ. यासिर सलाम सिद्दीकी ने ‘प्रॉक्सिमल ह्यूमरल फ्रैक्चर मैनेजमेंट’ पर अपने विचार व्यक्त किया। डॉ. मनोज मित्तल ने डॉ. अब्बास अली खान भाषण प्रस्तुत किया।
ऑर्थोपेडिक सर्जरी विभाग के अध्यक्ष प्रोफेसर अब्दुल कय्यूम खान और अन्य शिक्षकों ने रेजीडेंट डाक्टरों को उनकी उपलब्धि के लिए बधाई दी है।
—————————–
एएमयू के प्रोफेसर निजामुद्दीन खान सर्वश्रेष्ठ प्रोफेसर पुरस्कार से सम्मानित
अलीगढ़ 13 फरवरीः अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के भूगोल विभाग के प्रोफेसर निजामुद्दीन खान को काइट्सक्राफ्ट प्रोडक्शन एलएलपी, लुधियाना द्वारा ‘वर्ष के सर्वश्रेष्ठ प्रोफेसर पुरस्कार’ से सम्मानित किया गया है।
यह पुरस्कार उन्हें भौगोलिक अध्ययन और अनुसंधान के क्षेत्र में उनके योगदान और उपलब्धियों के लिए दिया गया है।
उनकी 17 पुस्तकें और 120 से अधिक शोध पत्र प्रकाशित राष्ट्रीय एवं अन्तर्राष्ट्रीय महत्व के जर्नलों में प्रकाशित हो चुके हैं।