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लखनऊः किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय, उत्तर प्रदेश, लखनऊ में समय-समय पर लावारिस मरीजों को भर्ती किया जाता है। विश्वविद्यालय द्वारा सभी मरीजों का निःशुल्क उपचार किया जाता है। लावारिस भर्ती मरीजों की विशेष देखभाल के लिए प्रत्येक वार्ड में समर्पित नर्सिंग अधिकारी और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की तैनाती की गई है।

लावारिस मरीजों की निगरानी हेतु वरिष्ठ चीफ मेडिकल सोशल सर्विस ऑफिसर, श्री अखिलेश कुमार त्रिपाठी को नामित किया गया है। हाल ही में लावारिस मरीजों के निस्तारण के लिए संबंधित विभागों द्वारा विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराई गई थी। मानसिक चिकित्सा विभाग में लगभग 5 से 15 वर्षों से भर्ती 5 मरीज थे, जिनमें से कुछ मरीज मा. न्यायालय के आदेशानुसार 15 वर्षों से भर्ती थे। विधिक बाधाओं के कारण इन मरीजों को शेल्टर होम या स्वैच्छिक संस्थाओं में भेजने में समस्याएं हो रही थीं।

आज दिनांक 09.01.2025 को, जिला दिव्यांग अधिकारी, श्री रजनीश किरन के सहयोग से, शेल्टर होम स्नेह वेलफेयर सोसाइटी (पता: 247, मानस एन्क्लेव, इंदिरा नगर, लखनऊ) की प्रबंधक श्रीमती शुभा सिंह (मोबाइल नंबर: 6393697009) को, मानसिक चिकित्सा विभागाध्यक्ष, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक, चिकित्सा अधीक्षक, चीफ मेडिकल सोशल सर्विस ऑफिसर श्री अखिलेश कुमार त्रिपाठी, वार्ड में उपस्थित कर्मचारी, और नर्सिंग अधिकारियों की उपस्थिति में लावारिस मरीजों को सौंपा गया।

15 वर्षों से वार्ड में भर्ती इन मरीजों के उपचार में संलग्न पूरी टीम की आंखों में आंसू थे, क्योंकि वे इन मरीजों का इलाज केवल एक मरीज के रूप में नहीं, बल्कि परिवार के सदस्य की तरह कर रहे थे। मरीजों को समय-समय पर परामर्श हेतु मानसिक चिकित्सा विभाग की ओपीडी में आकर दिखाने की सलाह दी गई है। मानसिक रोग विभाग के अध्यक्ष डॉ. विवेक अग्रवाल ने बताया कि निरंतर के उपचार से मानसिक रोगियों की हालत स्थिर रह सकती है लेकिन चूँकि ये रोगी अपना नाम और अता-पता भूल चुके हैं, इसलिए इन्हें शेल्टर होम को सौंपा जा रहा है। 

लावारिस मरीजों का विवरण:

  1. लावारिस सोनिया (15 वर्ष से भर्ती)
  2. लावारिस अस्टम (12 वर्ष से भर्ती)
  3. लावारिस सोनिया (03 माह से भर्ती)

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